IMD Heavy Rain Alert: भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने एक बार फिर पूर्वोत्तर भारत के कई राज्यों में भारी बारिश को लेकर चेतावनी जारी की है। शुक्रवार को असम, अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मेघालय और मणिपुर के लिए रेड अलर्ट घोषित किया गया है। इन राज्यों में पिछले 24 घंटों से लगातार भारी बारिश हो रही है और मौसम विभाग का कहना है कि आने वाले 24 घंटे और भी अधिक अहम हो सकते हैं। इस दौरान तेज हवाएं, बिजली गिरने और भूस्खलन की संभावना को देखते हुए लोगों को सतर्क रहने और दिशा-निर्देशों का पालन करने की सलाह दी गई है।
क्यों हो रही है इतनी बारिश?
गुवाहाटी स्थित क्षेत्रीय मौसम केंद्र के अनुसार, इस समय जो भारी बारिश हो रही है, वह बांग्लादेश के ऊपर बने एक दबाव प्रणाली (Low Pressure System) के कारण है। यह सिस्टम धीरे-धीरे उत्तर-पूर्व की ओर बढ़ रहा है और अगले 24 घंटों में इसके कमजोर पड़कर सामान्य निम्न दबाव क्षेत्र (Depression) में बदलने की संभावना है। हालांकि, जब तक यह कमजोर नहीं होता, तब तक इस सिस्टम के चलते भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना बनी रहेगी।
किन राज्यों में जारी हुआ है रेड अलर्ट?
IMD ने शुक्रवार को जिन पांच राज्यों में रेड अलर्ट जारी किया है, वे हैं:
असम
अरुणाचल प्रदेश
नागालैंड
मेघालय
मणिपुर
इन राज्यों में कुछ जगहों पर भारी से बहुत भारी बारिश हो सकती है। कुछ इलाकों में 24 घंटे के भीतर 7 से 11 सेंटीमीटर तक बारिश दर्ज की जा सकती है। इसके साथ ही, तेज़ हवाएं 40 से 60 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चल सकती हैं, जिससे सामान्य जनजीवन प्रभावित हो सकता है।
त्रिपुरा और मिजोरम के लिए ऑरेंज अलर्ट
त्रिपुरा और मिजोरम के लिए मौसम विभाग ने ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। इसका मतलब है कि यहां भी भारी बारिश और तेज हवाओं की संभावना है, लेकिन स्थिति रेड अलर्ट वाले राज्यों जितनी गंभीर नहीं है। इन दोनों राज्यों के लोगों को भी विशेष सतर्कता बरतने की सलाह दी गई है।
गुवाहाटी और अन्य इलाकों में स्थिति गंभीर
असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (ASDMA) ने गुवाहाटी सहित कई क्षेत्रों के निवासियों से सतर्क रहने को कहा है। भारी बारिश के चलते कई इलाकों में जलभराव, ट्रैफिक जाम और बिजली कटौती जैसी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं। खासकर जो लोग रोजाना यात्रा करते हैं या लंबी दूरी की यात्रा की योजना बना रहे हैं, उन्हें मौसम को ध्यान में रखकर अपनी योजना बनानी चाहिए।
ASDMA ने कहा, “लोगों को सलाह दी जाती है कि वे अत्यधिक बारिश के समय घर के अंदर ही रहें। अनावश्यक यात्रा से बचें और निचले या भूस्खलन संभावित इलाकों में विशेष सतर्कता बरतें।”
मणिपुर में नदियों का जलस्तर बढ़ा
मणिपुर के कांगपोकपी, सेनापति, थौबल, चुराचांदपुर और नोनी जिलों में अधिकारियों ने चेतावनी जारी की है। सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग (IFCD) के अनुसार, इंफाल घाटी से होकर बहने वाली तीन नदियाँ—इंफाल नदी, नम्बुल नदी और इरिल नदी—खतरे के निशान के करीब पहुंच गई हैं। यदि बारिश इसी तरह जारी रही, तो इन नदियों के उफान पर आने से बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो सकती है।
सरकारी बयान के अनुसार, 29 मई से 1 जून तक राज्य के कई हिस्सों में भारी बारिश के साथ गरज-चमक और बिजली गिरने की घटनाएं हो सकती हैं। तेज हवाएं 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चल सकती हैं, जिससे पेड़ गिरने और बिजली के खंभों को नुकसान पहुंचने की आशंका है।
लोगों के लिए क्या सलाह है?
मौसम विभाग और आपदा प्रबंधन विभागों ने लोगों से अपील की है कि वे निम्नलिखित सावधानियों का पालन करें:
भारी बारिश के दौरान अनावश्यक रूप से बाहर न निकलें।
मोबाइल पर मौसम से संबंधित अपडेट देखते रहें।
निचले इलाकों में जलभराव और भूस्खलन की आशंका को देखते हुए सतर्क रहें।
बिजली चमकने के दौरान खुले मैदानों में न जाएं।
नदी किनारे और ढलान वाले इलाकों से दूर रहें।
सरकारी दिशा-निर्देशों का पालन करें और ज़रूरत पड़ने पर सुरक्षित स्थानों की ओर निकलें।
निष्कर्ष
पूर्वोत्तर भारत इस समय गंभीर मौसम परिस्थितियों से गुजर रहा है। लगातार हो रही भारी बारिश ने जनजीवन को प्रभावित कर दिया है। ऐसे में जरूरी है कि लोग सतर्क रहें और किसी भी प्रकार की लापरवाही से बचें। मौसम विभाग की चेतावनी को गंभीरता से लेना न केवल आपकी सुरक्षा के लिए जरूरी है, बल्कि यह समाज के लिए भी जिम्मेदारी का हिस्सा है। अगले 24 घंटे बेहद अहम हैं, इसलिए सावधानी ही सुरक्षा है।