Two Wheeler Subsidy: दिल्ली सरकार ने बढ़ते प्रदूषण को कम करने और पर्यावरण को स्वच्छ बनाए रखने के लिए इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने के लिए नई नीति लागू की है। इस नीति के तहत महिलाओं को खासतौर पर प्रोत्साहित किया गया है। यदि आप महिला के नाम पर इलेक्ट्रिक टू व्हीलर खरीदते हैं तो आपको सरकार की ओर से 36 हजार रुपये तक की सब्सिडी मिल सकती है। यह कदम न केवल पर्यावरण संरक्षण की दिशा में महत्वपूर्ण है, बल्कि महिलाओं को आर्थिक और सामाजिक रूप से सशक्त बनाने में भी मददगार साबित होगा।
दिल्ली सरकार की इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2.0
दिल्ली सरकार ने हाल ही में इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2.0 शुरू की है। इसका मुख्य उद्देश्य शहर में बढ़ रहे प्रदूषण को नियंत्रित करना और fossil fuel यानी जीवाश्म ईंधन पर निर्भरता को कम करना है। दिल्ली में प्रदूषण का स्तर बहुत अधिक हो चुका है, जिससे न केवल लोगों का स्वास्थ्य प्रभावित हो रहा है, बल्कि शहर का पर्यावरण भी बुरी तरह प्रभावित हो रहा है।
इसलिए सरकार ने पेट्रोल, डीजल और सीएनजी से चलने वाले वाहनों पर रोक लगाने की योजना बनाई है। 15 अगस्त 2026 से दिल्ली में पेट्रोल, डीजल और सीएनजी पर चलने वाले टू व्हीलर और तीन पहिया वाहनों के पंजीकरण पर प्रतिबंध लगाया जाएगा। इससे पहले इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देकर प्रदूषण को कम करने की कोशिश की जा रही है।
महिलाओं के लिए विशेष सब्सिडी योजना
दिल्ली सरकार महिलाओं को खासतौर पर प्रोत्साहित कर रही है ताकि वे इलेक्ट्रिक टू व्हीकल खरीदें। यदि आप महिला के नाम पर इलेक्ट्रिक टू व्हीलर खरीद रही हैं और आपके पास वैध ड्राइविंग लाइसेंस है तो आपको ₹10,000 की बेसिक सब्सिडी दी जाएगी। इसके अलावा, बैटरी की क्षमता के आधार पर प्रति किलोवाट ₹12,000 की अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि भी दी जाती है।
इस तरह कुल मिलाकर आपको ₹36,000 तक की सब्सिडी मिल सकती है। यह राशि इलेक्ट्रिक टू व्हीलर खरीदने में आने वाले खर्च को काफी हद तक कम कर देती है, जिससे अधिक से अधिक महिलाएं इस सुविधा का लाभ उठा सकें।
इलेक्ट्रिक ऑटो रिक्शा पर भी है सब्सिडी
इस नीति के तहत केवल टू व्हीलर तक सीमित नहीं रखा गया है, बल्कि इलेक्ट्रिक ऑटो रिक्शा पर भी विशेष सब्सिडी दी जा रही है। दिल्ली सरकार ने सीएनजी से चलने वाले ऑटो रिक्शा पर जल्द ही रोक लगाने की तैयारी कर ली है। अगस्त 2025 से सीएनजी ऑटो रिक्शा का नया पंजीकरण बंद कर दिया जाएगा और सीएनजी ऑटो के परमिट का नवीनीकरण भी नहीं होगा।
इसके बजाय, जो लोग अपने सीएनजी ऑटो रिक्शा को इलेक्ट्रिक ऑटो रिक्शा में बदलते हैं, उन्हें प्रति किलोवाट ₹10,000 तक की सब्सिडी दी जाएगी। इस योजना के तहत अधिकतम ₹45,000 तक की सब्सिडी मिल सकती है।
पुराने ऑटो रिक्शा स्क्रैप करने पर अतिरिक्त इंसेंटिव
दिल्ली सरकार ने 12 साल से अधिक पुराने ऑटो रिक्शा स्क्रैप करने वालों के लिए भी प्रोत्साहन योजना शुरू की है। यदि कोई व्यक्ति अपना पुराना ऑटो रिक्शा स्क्रैप करता है और इलेक्ट्रिक ऑटो रिक्शा खरीदता है तो उसे ₹20,000 तक का अतिरिक्त इंसेंटिव मिलेगा।
इस प्रकार कुल मिलाकर एक व्यक्ति इलेक्ट्रिक ऑटो रिक्शा लेने पर एक लाख रुपये तक का एकमुश्त लाभ भी प्राप्त कर सकता है। हालांकि, ध्यान रखें कि इस योजना का लाभ लेने वाले व्यक्ति अन्य वाहनों के लिए भी सब्सिडी का दावा नहीं कर सकते।
सब्सिडी पाने की प्रक्रिया और आधिकारिक वेबसाइट
इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2.0 के तहत सब्सिडी प्राप्त करने के लिए दिल्ली परिवहन विभाग की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर आवेदन करना होता है। वहां आपको आवश्यक दस्तावेज अपलोड करने होंगे और ऑनलाइन फॉर्म भरना होगा।
सब्सिडी के लिए आवेदन करते समय ध्यान रखें कि सभी दस्तावेज सही और पूरी तरह से भरें। इसके अलावा, वाहन की खरीद भी उसी नाम से होनी चाहिए जिसके आधार पर सब्सिडी का दावा किया जा रहा है।
निष्कर्ष
दिल्ली सरकार की इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2.0 एक प्रभावी कदम है जो प्रदूषण को कम करने और महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए बनाया गया है। इस योजना के तहत महिलाओं को इलेक्ट्रिक टू व्हीलर खरीदने पर 36 हजार रुपये तक की सब्सिडी मिलती है, जो कि एक बड़ी राहत है। साथ ही, इलेक्ट्रिक ऑटो रिक्शा के लिए भी आकर्षक सब्सिडी और इंसेंटिव उपलब्ध हैं।
यह नीति न केवल दिल्ली में स्वच्छ और हरित परिवहन को बढ़ावा देगी, बल्कि महिलाओं को भी आत्मनिर्भर बनने में मदद करेगी। यदि आप इलेक्ट्रिक वाहन खरीदने का सोच रही हैं, तो इस योजना का लाभ जरूर उठाएं और अपने परिवहन खर्च को कम करते हुए पर्यावरण की सुरक्षा में योगदान दें।
डिस्क्लेमर: यह लेख दिल्ली सरकार द्वारा जारी इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2.0 के सार्वजनिक और समाचार स्रोतों से प्राप्त जानकारी के आधार पर तैयार किया गया है। किसी भी वाहन की खरीद या निवेश के निर्णय से पहले दिल्ली परिवहन विभाग या संबंधित अधिकारी से आधिकारिक जानकारी लेना आवश्यक है।